इस देश की आशा में राम है और मैं बहुत समय पहले गुजरात की मोरवी में था जहाँ विवेकानंद को बंदी बना कर रखा गया था , इसके अलावा में लिमडी में भी रहा जो अहमदाबाद से १३१ किमी पर है और सुरेंदर नगर की तहसील है ....मुझे वह जाकर पता चला की बापू उनको कहा जाता है जिनका सम्बन्ध राज घराने से या उनके यहाँ काम करने वालो को यह लगाने का अधिकार है मैं लड़की की दुर्दशा और इस बापू शब्द पर अभी कुछ नहीं कहूँगा पर जिस तरह से बापू की आशा का बलात्कार राम के देश में अभी कुछ दिन पहले सरे भौतिक सुखो को लुटने वाले वाले सांसारिक बाबा ??????????? ने उस बेटी के लिए बयां दिया जिसमे उनका कहना था कि अगर उसने हाथ जोड़ लिए होते तो उसका बलात्कार नहीं होता ????????????????????????????????????????? निष्कर्ष कहते है जाकी रही भावना जैसी प्रभु मूरत देखि तिहि तैसी ......................यानि उनके आश्रम में आने वाली महिलाये अगर उनके सामने हाथ न जोड़े तो बाबा जी तो उनका क्या करेंगे यह आपको बताने कि जरूरत नहीं है .......................उनका या बयां खुद उनकी कहानी कह गया .....मैं क्या कहूँ और इस देश में बिना सोचे समझे बात करने वाले कहिये अभी क्या ना कर डाले पर बलात्कार पर उनके इस बयां पर वो रजाई ओढ़ कर सो गए होंगे .......................खैर मेरी सलाह यही है कि देश की महिलाये अगर अपने को सुरक्षित रखना चाहती हो तो उनके आश्रम में जाकर हाथ जरुर जोड़े वरना .......................१६ दिसम्बर कभी और कही भी हो सकता है
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